बूढ़ी मां लगने लगी बोझ तो काशी में फेंक आए बेटी-दामाद, झोले में रख दिया कटोरी, चम्मच, नहीं दिए कोई रुपए, दशा देखकर रो पड़े लोग

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pc: inkhabar

उत्तर प्रदेश के कानपुर से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। शिवाला निवासी 74 वर्षीय महिला को उसकी बेटी और दामाद ने काशी के एक घाट पर छोड़ दिया। बीमार होने के बावजूद बुजुर्ग महिला को व्हीलचेयर पर अकेला छोड़ दिया गया। किसी ने बुजुर्ग महिला का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर डाल दिया, जो वायरल हो गया।

फिलहाल लावारिस वार्ड में भर्ती

महिला को अब स्थानीय अस्पताल के लावारिस वार्ड में भर्ती कराया गया है। अस्पताल के कर्मचारियों ने उसे नहलाया, उसके कपड़े बदले और उसकी देखभाल की। ​​उसकी पीठ और हाथों पर दिखाई देने वाले जख्मों से पता चलता है कि उसके साथ शारीरिक दुर्व्यवहार किया गया होगा। वह खुद को कानपुर के पटकापुर की निवासी बताती है और अपने पति का नाम राजकुमार बताती है। हालांकि, जब उससे उसकी बेटी के बारे में पूछा गया, तो वह चुप हो गई।


थैले में रखे थे ये सामान

बताया जाता है कि बुजुर्ग महिला ने तीन दिन मणिकर्णिका घाट पर पड़े-पड़े बिताए। सोमवार को एक महिला सफाई कर्मचारी उसे शौचालय का इस्तेमाल करने के लिए ले गई, इस दौरान वह अपनी बेटी को याद करते हुए रो पड़ी। बुजुर्ग महिला ने बताया कि उनको बेटा नहीं है। सिर्फ एक बेटी है। उनकी बेटी यहां छोड़ गई है। उसके बैग में सिर्फ़ कुछ चीज़ें थीं: एक गिलास, एक कटोरा, एक चम्मच और कुछ कपड़े। उसे एक रुपया भी नहीं दिया गया। जब भी उसकी बेटी का नाम लिया जाता है, तो वह रोने लगती है लेकिन नाम बताने से मना कर देती है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बेटी ने अपनी मां की ज़िम्मेदारी लेने से इनकार कर दिया है।

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