वास्तु टिप्स: वास्तु के अनुसार ये आसान बदलाव करने से घर में आएगी सुख-शांति, दूर होगा तनाव

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वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की दिशाओं में रखी वस्तुएं घर के सदस्यों पर सकारात्मक और नकारात्मक प्रभाव डालती हैं। वास्तु के कुछ उपाय मानसिक तनाव को कम करते हैं।

वास्तु के अनुसार ये साधारण बदलाव करने से आपको घर में सुख-शांति का अनुभव होगा, तनाव दूर होगा वास्तु टिप्स: वास्तु के अनुसार ये साधारण परिवर्तन करने से आपको घर में सुख-शांति का अनुभव होगा, तनाव दूर होगा दूर।

शांति के लिए वास्तु उपाय:  वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की दिशाओं में रखी वस्तुएं घर के सदस्यों पर सकारात्मक और नकारात्मक प्रभाव डालती हैं। वास्तु के कुछ उपाय मानसिक तनाव को कम करते हैं।

वास्तु शास्त्र में दिशाओं का विशेष महत्व है। इस दिशा में रखी वस्तुएं हमारे जीवन पर नकारात्मक या सकारात्मक प्रभाव डालती हैं। कई बार ये नकारात्मक शक्तियां हमें मानसिक रूप से भी प्रभावित करती हैं। इससे स्वभाव चिड़चिड़ा और आक्रामक हो जाता है, मानसिक तनाव बढ़ जाता है, काम में मन नहीं लगता और कभी-कभी इसके कारण स्वास्थ्य भी बिगड़ने लगता है। वास्तु के कुछ उपाय मानसिक तनाव को कम करते हैं। आइए जानते हैं इन वास्तु टिप्स के बारे में।

घर के मुखिया को हमेशा दक्षिण-पश्चिम दिशा वाले कमरे में सोना चाहिए। ऐसा न करने से उनका मानसिक तनाव बढ़ जाता है। सोते समय पैर पश्चिम दिशा में तथा सिर उत्तर दिशा में नहीं होना चाहिए। जिसके कारण मानसिक तनाव होता है। सोते समय सिर दक्षिण-पूर्व दिशा में होना चाहिए।

अगर घर में परिवार के सदस्यों के बीच अक्सर झगड़े होते रहते हैं तो घर में मौजूद सभी टूटी-फूटी चीजों को जल्द से जल्द घर से बाहर कर देना चाहिए। यहां तक ​​कि रसोई में मौजूद टूटे-फूटे बर्तनों को भी घर से बाहर कर देना चाहिए। टूटी हुई वस्तुएं नकारात्मक ऊर्जा का स्रोत मानी जाती हैं। जिससे घर में कलह और मानसिक तनाव रहता है।

तनाव कम करने के लिए वास्तु टिप्स

घर का मुख्य दर्पण कभी भी दक्षिण या पश्चिम दिशा में नहीं होना चाहिए। इससे मानसिक तनाव बढ़ता है। घर में कभी भी दो दर्पण एक-दूसरे के सामने नहीं लगाने चाहिए। इससे घर में नकारात्मक ऊर्जा भी आती है। अगर घर में कोई टूटा हुआ शीशा है तो उसे भी हटा दें। टूटा हुआ कांच मानसिक तनाव बढ़ाता है।

अविवाहित लोगों का कमरा कभी भी दक्षिण-पश्चिम दिशा में नहीं होना चाहिए। इससे उनके स्वभाव में आक्रामकता आ जाती है और चिड़चिड़ापन बढ़ जाता है।

घर की दीवारों को कभी भी बहुत गहरे रंग से नहीं रंगना चाहिए। घर की दीवारों को हमेशा हल्के रंग से रंगना चाहिए, अन्यथा नकारात्मक ऊर्जा मन-मस्तिष्क पर हावी होने लगती है।

घर में भगवान की ऐसी तस्वीर या मूर्ति नहीं रखनी चाहिए जिसमें वह उग्र या क्रोधित रूप में नजर आ रहे हों। घर में किसी भी प्रकार की हिंसक तस्वीरें नहीं होनी चाहिए। जिससे परिवार के सदस्यों का मानसिक तनाव भी बढ़ जाता है।

 अस्वीकरण: यहां दी गई जानकारी केवल मान्यताओं और सूचनाओं पर आधारित है। यहां यह बताना जरूरी है कि RK किसी भी पहचान, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें

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